Lighthouse Project kya hai? – Apply Online

Lighthouse Project kya hai

प्रधानमंत्री मोदी ने 31 दिसंबर 2020 को लाइट हाउस प्रोजेक्ट यानी कि LHP जोकि Global Housing Technology Challenge (GHTC) -India के अंतर्गत आती है लॉन्च की| इस योजना को Union ministry of housing and urban affairs संभालेगी| इस प्रोजेक्ट से न्यूनतम तकनीक का इस्तेमाल करके भारत के 6 शहरों में टिकाऊ एवं आपदा प्रभावी मकान योजना के लाभार्थियों को प्रदान करवाए जाएंगे। प्रधानमंत्री ने इस योजना को लांच करने के पश्चात यह बोला यह सहकारी संघवाद को मजबूत बनाएगी साथ ही यह भी कहा गया कि इस स्कीम के तहत हाउसिंग प्रोजेक्ट को केंद्र सरकार महत्व ता प्रदान करवाएगी जिससे हाउसिंग इंफ्रास्ट्रक्चर को और मजबूत बनाया जा सके। भारत देश ने एक अलग दृष्टिकोण बनाया है इससे हम अपने देश को बेहतर तकनीक क्यों ना प्रदान करवाएं? इसलिए इस योजना को पीएम मोदी ने लॉन्च किया है।

लाइट हाउस प्रोजेक्ट क्या है

माननीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा लाइट हाउस प्रोजेक्ट को 6 राज्यों में लांच किया गया। यह योजना साल के प्रथम दिवस पर लांच की गई है। लाइट हाउस प्रोजेक्ट को प्रक्षेपित किया गया है। यह योजना ग्लोबल हाउसिंग टेक्नोलॉजी चैलेंज – इंडिया के तहत बनाई जा रही है। यह योजना केंद्र शहरी मंत्रालय की एक महत्वकांक्षी योजना है जो कि लोगों को सुरक्षित निवास प्रदान करवाएगी जो कि उनके स्थानीय जलवायु व इकोलॉजी को मद्देनजर रखते हुए बनाए जाएंगे। बनाए जाने वाले घर न्यूनतम तकनीक जो कि पूरे विश्व भर में मशहूर है उनकी सहायता से मनाए जाएंगे। लखनऊ (उत्तर प्रदेश), इंदौर (मध्य प्रदेश), अगरतला (त्रिपुरा), रांची (झारखंड), राजकोट (गुजरात) और चेन्नई (तमिलनाडु) में इस योजना को प्रक्षेपित किया गया है। इस योजना की मदद से स्थानीय लोगों के लिए मजबूत एवं सस्ते मकान बनाकर तैयार किए जाएंगे जो कि खास न्यूनतम तकनीकों से बनाए जाएंगे।

मकान बनाने के लिए इस प्रोजेक्ट के तहत बीम कॉलम व पैनल को फैक्ट्री से ही तैयार करवा कर जहां पर निवास बन रहा है वहां पर लाया जाएगा। इससे मकान बनाने का समय व खर्च कम होगा। इससे प्रोजेक्ट की लागत भी कम रहेगी वह मकान सुरक्षित भी रहेंगे। यह मकान भूकंप व अन्य आपदाओं से सुरक्षित होंगे। इस प्रोजेक्ट के तहत संपूर्ण कारपेट एरिया 34.50 वर्ग मीटर रखा गया है जिसमें 14 मंजिला टावर बनाए जाएंगे व कुल 1040 फ्लैट तैयार किए जाएंगे| जिसमें से हर फ्लैट 415 वर्ग फुट का बनाया जाएगा। प्रधानमंत्री मोदी ने इस योजना को लांच करते हुए यह भी बताया है कि हर राज्य में अलग तरह की तकनीक इस्तेमाल की जाएगी जैसे कि इंदौर में मकान ईटों से नहीं बल्कि से “pre-fabricated sandwich panel” बनेंगे वर राजकोट में फ्रांस की मोनोलिथिक कंक्रीट कंस्ट्रक्शन का इस्तेमाल किया जाएगा, ऐसे ही चेन्नई ‘Precast concrete system’ में इस्तेमाल किया जाएगा, रांची Germany’s ‘3-D construction system’ में सहायता ली जाएगी व न्यूजीलैंड की steel frame technology को अगरतला में इस्तेमाल किया जाएगा, लखनऊ में कनाडा की तकनीक मकान बनाने के लिए इस्तेमाल की जाएगी।

LHP Information

इस प्रोजेक्ट के अंतर्गत प्रत्येक स्थान पर एक हजार मकानों का निर्माण प्रतिवर्ष किया जाना है। GHTC-INDIA के तहत 54 अलग तकनीकों का इस्तेमाल कर 6 तकनीको का इस्तेमाल कर मकान बनाए जाएंगे। प्रधानमंत्री ने राज्यों के मुख्यमंत्री राज्यपाल व अन्य अधिकारियों को संबोधित करते हुए कहा कि देश के गरीब व मध्यम वर्ग के लोगों के लिए किफायती आरामदायक एवं मजबूत घर प्रदान करवाने के लिए पूरे विश्व में नई-नई पत्नी के इस्तेमाल की जा रही हैं। तो फिर हम क्यों इन योजनाओं को इस्तेमाल करके अपने देश के लोगों के लिए भी नई तकनीकों के सहायता से आरामदायक घर प्रदान करें। इस योजना से बहुत से लोगों को खुद का घर प्राप्त होगा जो कि प्रधानमंत्री आवास योजना के अंतर्गत प्रदान करवाया जा रहा है।

LHP LOCATION TECHNOLOGY SELECTED NUMBER OF HOUSES TO BE CONSTRUCTED
Indore (Madhya Pradesh) Prefabricated Sandwich Panel System 1024
Agartala (Tripura) Light Gauge Steel Structural System & Pre-engineered Steel Structural System 1000
Rajkot (Gujarat) Monolithic Concrete Construction 1144
Chennai (Tamil Nadu) Precast Concrete Construction System- Precast components assembled at site 1152
Ranchi (Jharkhand) Precast Concrete Construction System-3D Precast Volumetric 1008
Lucknow (Uttar Pradesh) Stay In-place Formwork System 1040

Official Website: https://ghtc-india.gov.in/Content/LHP.html

क्या होगी मकानों की कीमत ?

सूत्रों के अनुसार मकान की कीमत 12.59 लाख रुपए होगी जिसमें से 7.8 ₹300000 सरकार द्वारा सहायता प्रदान करवाई जाएगी, यह सहायता केंद्र व राज्य सरकार द्वारा प्रदान करवाई जाएगी। बाकी के 4.76 लाख रुपए लाभार्थियों को स्वयं भुगतान करना होगा। मकानों का आवर्तन प्रधानमंत्री आवास योजना शहरी के अनुसार होगा। क्योंकि मकानों को तैयार करने के लिए नई तकनीक का इस्तेमाल किया जा रहा है इसलिए मकान 1 साल के अंतर्गत लाभार्थियों को प्रदान करवा दिए जाएंगे। प्रीफैबरीकेटेड मेटेरियल की मदद से निर्माण पर्यावरण अनुकूलित व ज्यादा मजबूती प्रदान करवाएगा। इसी कारण वश मकान भी जल्दी तैयार करवाए जा रहे हैं वह निर्माण के लिए सामान सीधा फैक्ट्री से साइट पर आएगा। बीएसटीसी इंडिया के तहत बन रहे लाइट हाउस प्रोजेक्ट को छह स्थानों के लिए राज्य व केंद्र शासित प्रदेशों ने वर्ष 2017 में केंद्रीय आवास एवं शहरी मामलों के मंत्रालय के कहने पर चुना था। इन्हीं छह राज्यों को सबसे पहले लाइट हाउस प्रोजेक्ट के लिए सिलेक्ट किया गया क्योंकि इन्हें सबसे ज्यादा मार्च प्राप्त हुए थे।

विशेषताएं

  1. एलएचपी यानी कि लाइट हाउस प्रोजेक्ट हजार मकान बनाएगी जोकि शॉर्टलिस्टेड वैकल्पिक प्रतियोगिता के साथ निर्मित इस मॉडल पर प्रायोजित होगी। इससे लोगों को रहने के लिए घर अत्यंत तेज, किफायती दर व बेहतर गुणवत्ता के साथ प्रदान करवाएं जाएंगे।
  2. प्रधानमंत्री आवास योजना शहरी के तहत एलएचबी में बन रहे मकानों का न्यूनतम साइज PMAY के तहत दिशा निर्देशों के अनुसार ही होगा|
  3. एलएचपी के अंतर्गत बनाए जा रहे मकानों को सौंदर्यशास्त्र, उचित वेंटिलेशन व अभिविन्यास के साथ नेशनल बिल्डिंग कोड 2016 में निर्धारित आवश्यकताओं का ध्यान रखते हुए डिजाइन करवाया जा रहा है तथा इसके साथ बाउंड्री वॉल, पानी की सप्लाई, सीवरेज, ड्रेनेज, रेन वाटर हार्वेस्टिंग, सोलर लाइटिंग व बिजली का कार्य भी करवाया जाएगा।
  4. भारतीय/अंतर्राष्ट्रीय मानकों के अनुसार डिजाइन हो रहे इन मकानों को भूकंप, चक्रवात एवं बाढ़ से सुरक्षा सुनिश्चित करवाते हैं।
  5. क्लस्टर डिजाइन के अनुसार जलापूर्ति जल निकासी व वर्षा जल संचयन और सोलर लाइटिंग को ध्यान में रखते हुए नई टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल किया जा रहा है।
  6. घर के निर्माण की अवधि 12 महीने रखी गई है। संबंधित राज्य व केंद्र शासित प्रदेश सरकार द्वारा फास्टट्रैक प्रक्रिया के माध्यम से स्वीकृति प्रदान करवाई जाएगी।
  7. प्रौद्योगिकी प्रदाताओं के लिए भी खास स्कीम है जिसके अंतर्गत 15 महीने में एलएचबी के निर्माण को सफलतापूर्वक करने पर $20000 का इनाम प्रदान करवाया जाएगा। साथ ही जितनी जल्दी कार्य पूर्ण किया जाएगा हर महीने के हिसाब से $2000 का उत्तर बोनस भी प्रदान करवाया जाएगा।
  8. लाभार्थियों को एलएचपी के तहत निर्मित मकानों का आवंटन पीएमएवाई शहरी के निर्देशानुसार पालन करना आवश्यक है|

Note: ऊपर प्रदान करवाई गई सारी जानकारी इंटरनेट के माध्यम से ली गई है इसलिए हम प्रदान की गई जानकारी की जिम्मेदारी नहीं लेते हैं। पाठकों को सलाह दी जाती है कि संपूर्ण जानकारी के लिए आधिकारिक वेबसाइट पर ही जाएं|

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