सुमित्रानंदन पंत की कविता बादल – Sumitranandan Pant Poems Badal

सुमित्रानंदन पंत की कविता बादल

सुमित्रानंदन पंत पोयम्स: सुमितानंदन पंत का जन्म 20 मई 1900 को बागेश्वर, उत्तर-पश्चिमी प्रान्त, ब्रिटिश भारत में हुआ था| वह एक मशहूर भारतीय कवि थे। वह सबसे मशहूर “प्रगतिशील” वामपंथी हिंदी भाषा के 20 वीं शताब्दी के कवियों में से एक थे और उनकी कविताओं में रोमांटिकता के लिए जाने जाते थे जो प्रकृति, लोगों और सौंदर्य से प्रेरित थे। आज हम आपको उनकी ही कुछ मशहूर पोएम यानी कविता, kavita In hindi यानी की sumitranandan pant poems in hindi, सुमित्रानंदन पंत की कविता बादल इन हिंदी, Kavita with Meaning,  poetry पेश करेंगे जो की बादल के ऊपर है जिसे इंग्लिश में sumitranandan pant poems on clouds (kale badal) कहा जाता है|

Sumitranandan Pant Poem Badal in Hindi

Sumitranandan Pant ki Kavita Badal in Hindi:  सुमितानंदन पंत कविताएं इस प्रकार हैं|
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काले बादल – सुमित्रानंदन पंत

सुनता हूँ, मैंने भी देखा, काले बादल में रहती चाँदी की रेखा! काले बादल जाति द्वेष के, काले बादल विश्‍व क्‍लेश के, काले बादल उठते पथ पर नव स्‍वतंत्रता के प्रवेश के! सुनता आया हूँ, है देखा, काले बादल में हँसती चाँदी की रेखा! आज दिशा हैं घोर अँधेरी नभ में… Share on X

सुमित्रानंदन पंत पोयम्स इन हिंदी: पंत का जन्म कौशानी गांव, बागेश्वर जिले में हुआ था| उनका जन्म एक शिक्षित मध्यम वर्ग के ब्राह्मण परिवार में हुआ था । उनके जन्म के कुछ ही समय बाद उनकी माता जी की मृत्यु हो गई थी, और उनके लेखन से ऐसा लगता है की वे अपनी दादी, पिता या बड़े भाई से स्नेह नहीं चाहते थे, जिसके पश्चात उन्होंने लेखन में कदम रखा। उनके पिताजी स्थानीय चाय उद्यान के प्रबंधक के रूप में सेवा करते थे| इसलिए पंत कभी भी आर्थिक रूप से बढ़ने की नहीं सोचते थे। आगे चल के उन्होंने लेखन में खूब नाम कमाया|

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